शनिवार, 26 नवंबर 2011

शिक्षक पात्रता परीक्षा की तैयारी

यकीनन शिक्षक नई पीढ़ी का पथ प्रदर्शकऔर राष्ट्र निर्माता होता है। बड़ी संख्या में युवाओं का लक्ष्य शिक्षक बनना होता है। शिक्षक पात्रता परीक्षा श्रेणी.1ए 2 तथा 3 तीनों में 150 वस्तुनिष्ठ प्रश्न पूछे जाएँगे। प्रश्नों को हल करने के लिये ढाई घंटे का समय दिया जाएगा। शिक्षक पात्रता परीक्षा श्रेणी.1 के प्रश्नपत्र के दो भाग हैं। भाग.अ सभी के लिए अनिवार्य है। भाग.ब के अंतर्गत शामिल विषयों में से एक विषय का चयन करना होता है। भाग.अ में सामान्य मानसिक योग्यताए सामान्य अध्ययनए शैक्षिक अभिरुचिए हिन्दी तथा अंग्रेजी के प्रश्न पूछे जाएँगे। शिक्षक पात्रता परीक्षा श्रेणी.2 में बाल विकास एवं शिक्षाशास्त्रए भाषा.1ए भाषा.2ए गणित विज्ञान सामाजिक विज्ञान मुख्य भाषा के प्रश्न पूछे जाएँगे। शिक्षक श्रेणी.3 पात्रता परीक्षा में बाल विकास एवं शिक्षाशास्त्र भाषा.1ए भाषा.2ए गणित तथा पर्यावरण अध्ययन के प्रश्न पूछे जाएँगे।
यह सर्वविदित तथ्य है कि जो विद्यार्थी सुनियोजित रूप से तथा अच्छे अध्ययन संदर्भों को आधार बनाकर तैयारी करते हैंए वे सफल होते हैं। शिक्षक श्रेणी.1ए 2 तथा 3 पात्रता परीक्षा में सफलता के लिए एनसीईआरटी की संबंधित विषय की पुस्तकेंए नवीनतम पाठयक्रमानुसार बनी शिक्षक पात्रता परीक्षा की नोट्स फाइल तथा प्रतियोगी परीक्षाओं की स्तरीय मासिक पत्रिकाएँ प्रथम अध्ययन संदर्भ के रूप में होनी चाहिए। शिक्षक पात्रता परीक्षा की तैयारी के लिये गणित एवं सामान्य मानसिक योग्यता खंड पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। इन खंडों में संख्यात्मक गणनाओंए तार्किक शक्ति आदि के प्रश्नों में गति एवं शुध्दता अति आवश्यक है इसलिए इस प्रकार के मॉडल प्रश्नों का बारम्बार अभ्यास करें। अभ्यास से ही आत्मविश्वास आता है। परीक्षा में प्रश्नपत्र हल करने के दौरान गणित एवं सामान्य मानसिक योग्यता का जो प्रश्न कठिन लगता है उसे छोड़कर अगला प्रश्न हल करना चाहिए। क्योंकि बीच.बीच में प्रश्न.पत्र में कुछ प्रश्न ऐसे दिए जाते हैं जिससे परीक्षार्थी हल करते समय दुविधापूर्ण स्थिति में आ जाए। उल्लेखनीय है कि प्रथम प्रयास में ही शीघ्रतापूर्वक बिना त्रुटि के जोड़.गुणा.भाग करने की दक्षता आदि में समर्थ रहने वालों को पहचान लेने के लिए थोड़े कठिन प्रश्नों का भी चयन किया जाता है।
शिक्षक पात्रता परीक्षा श्रेणी.1 के सामान्य अध्ययन के खंड में इस बात की जाँच की जाती है कि परीक्षार्थी में सामान्य ज्ञान का स्तर कितना है। समाजए देश और विश्व से जुड़ी प्रमुख घटनाओं के प्रति परीक्षार्थी की जागरूकता का पता इसी परीक्षा से लगाया जाता है। सामान्य अध्ययन में प्रायरू सामान्य ज्ञान के प्रश्नों के साथ पिछले कुछ समय में हुई घटनाओं पर भी प्रश्न पूछे जाते हैं। इसके लिए यह बहुत जरूरी है कि पूरे नवीनतम घटनाक्रम पर नजर रखी जाए। इस खंड की तैयारी के लिए राष्ट्रीय स्तर के समाचार पत्र में दिया जा रहा इस हफ्ते का खबरनामा तथा सम.सामयिकीए प्रतियोगी परीक्षाओं की सामान्य ज्ञान केंद्रित पत्रिकाएंए कॉम्पीटिशन सक्सेस रिव्यू तथा सामान्य ज्ञान दर्पण बहुत उपयोगी है।शिक्षक पात्रता परीक्षा श्रेणी.1ए 2 तथा 3 के हिन्दी एवं अंग्रेजी भाषा के खंड का उद्देश्य भाषा ज्ञान की परीक्षा करना है। व्याकरणए शब्दावलीए वाक्य पूर्ण करनाए समानार्थीए विरुध्दार्थीए अनुच्छेद की समझ आदि संबंधी प्रश्नों से अंग्रेजी तथा हिन्दी भाषा संबंधी ज्ञान की परीक्षा की जाती है। विज्ञान एवं पर्यावरण अध्ययन खंड की तैयारी के लिये भौतिकी में प्रयुक्त होने वाले विभिन्न सूत्रों को कंठस्थ कर लें। मापनए गति एवं बलए कार्यए ऊर्जा एवं शक्तिए ध्वनिए प्रकाशए विद्युत ऊर्जा आदि से संबंधित सूत्रों एवं अवधारणाओं को याद कर लें। इसी प्रकार रसायन शास्त्र के तहत द्रव्य की प्रकृतिए बंधए रासायनिक अभिक्रियाएँए आवर्त सारणीए कार्बनिक रसायन पर विशेष ध्यान दें। जीव विज्ञान के अंतर्गत कोशिकाए वनस्पति क्रिया विज्ञानए परिसंचरण तंत्रए श्वसन तंत्रए उत्सर्जन तंत्रए तंत्रिका तंत्रए अंतरूस्त्रावी तंत्रए आनुवांशिकीए पोषणए स्वास्थ व रोग महत्वपूर्ण टॉपिक हैं। इन टॉपिक्स से संबंधित प्रश्नों को अच्छे से तैयार कर लें।सामाजिक विज्ञान खंड में इतिहासए भूगोलए राजनीति शास्त्र तथा अर्थशास्त्र से संबंधित प्रश्न पूछे जाते हैं। इतिहास को तीन भागों यथा प्राचीन भारतए मध्यकालीन भारत तथा आधुनिक भारत में बाँटा जा सकता है। प्राचीन भारतीय इतिहास को तीन कालावधियों में बाँटा जाता है. प्रागैतिहासिक काल तथा ऐतिहासिक काल व आद्य ऐतिहासिक काल से प्रश्न प्रायरू महत्वपूर्ण पुरातात्विक स्थलों एवं वहाँ प्राप्त वस्तुओं पर आधारित होते हैं। ऐतिहासिक काल में मुख्यतरू सामाजिकए सांस्कृतिक पहलू पर ध्यान देना चाहिए। मध्यकालीन भाग से इतिहास के साथ.साथ संस्कृति से भी अधिक प्रश्न पूछे जाते हैं। इस काल के साहित्यए चित्रकला व स्थापत्य शैली तथा तकनीकी उपलब्धि की विस्तृत सूची बनाकर अध्ययन करना चाहिए। इतिहास खंड में आधुनिक इतिहास सबसे महत्वपूर्ण तथा सर्वाधिक अंकदायी भाग हैए अतरू इस पर विशेष ध्यान केंद्रित करना चाहिए। स्वतंत्रता संग्राम की महत्वपूर्ण घटनाओं का विस्तार से गहन अध्ययन बहुत लाभप्रद होता है।राजव्यवस्था की तैयारी में संविधान संशोधन के महत्वपूर्ण तथ्यों एवं उच्चतम न्यायालय द्वारा दिए महत्वपूर्ण निर्णयों का अध्ययन लाभप्रद होता है। परीक्षा की दृष्टि से भारतीय राजव्यवस्था को दो भागों में बाँट सकते हैं। संवैधानिक पक्ष एवं राजव्यवस्था से संबंधित सामयिक विकास। संवैधानिक पक्ष को पुनरू दो भागों में बाँटा जा सकता है यथा भारतीय संविधानए संसदीय कार्यवाही एवं प्राविधिकता। राजव्यवस्था के अंतर्गत राज्य के नीति निदेशक तत्वए मूल कर्तव्यए कार्यपालिकाए बजटए न्यायपालिकाए केंद्र.राज्य संबंधए चुनावए आपातकालीन प्रावधान तथा संविधान संशोधन सम्मिलित हैं। इन पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है। भूगोल खंड में अधिकांश प्रश्न भारत के भूगोल से संबंधित होते हैं। इनमें भूकंप के बुनियादी लक्षणए भारत के जलवायु क्षेत्रए बंदरगाहए ज्वार.भाटाए नदियाँए बहुउद्देश्यीय परियोजनाएँए सिंचाईए फसलें आदि मुख्य होते हैं। भूगोल की तैयारी के संबंध में एक विशेष बात है मानचित्र की जानकारी। मोटे तौर पर परीक्षार्थियों को मानचित्र पर विभिन्न महत्वपूर्ण स्थानोंए पर्वतोंए नदियोंए झीलों की स्थिति के बारे में जानकारी होनी चाहिए। अर्थव्यवस्था खंड की तैयारी के लिये भारतीय एवं विश्व अर्थव्यवस्था में हुई पहल तथा विकास का समीक्षात्मक विश्लेषण करना चाहिए। इसके अंतर्गत अर्थव्यवस्था की प्रकृतिए पूँजी निर्माणए राष्ट्रीय आयए आय वितरणए भारत में नियोजनए संरचनात्मक सुधारए खाद्य सुरक्षाए सार्वजनिक वितरण प्रणालीए औद्योगिक नीतिए औद्योगिक रुग्णताए मुद्रास्फीतिए भुगतान संतुलनए बैंकिंग प्रणाली तथा राजकोषीय ढाँचे के अध्ययन पर विशेष ध्यान देना चाहिए। शिक्षाशास्त्र तथा बाल विकास खंड की तैयारी के लिए बाजार में उपलब्ध स्तरीय अध्ययन सामग्री का उपयोग करते हुए इस खंड पर अपनी पकड़ बनाएँ

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