प्लेसमेंट में पुराने आईआईटी पर भारी पड़े नए
आईआईटी के नए इंस्टीट्यूट पुराने पर भारी पड़ रहे हैं। इन नए संस्थानों में अभी प्लेसमेंट शुरू हुए कुछ साल ही हुए हैं, लेकिन रिक्रूटमेंट कंपनियां यहां से मोटे पैकेज पर ताबड़तोड़ हायरिंग कर रही हैं। रोपड़, पटना, हैदराबाद, भुवनेश्वर और गांधीनगर आईटीआईटी ने हायरिंग के मामले में पुराने इंस्टीट्यूट्स को पीछे छोड़ दिया है। माइक्रोसॉफ्ट, एमेजॉन और गूगल जैसी कंपनियां टैलेंट की तलाश में नए आईआईटी में जा रही हैं। यहां इस साल जो एवरेज सैलरी ऑफर की गई है, उसमें १५-२० फीसदी की बढ़ोतरी हुई है। वहीं, मद्रास, रुड़की, खड़गपुर, बॉम्बे, दिल्ली और गुवाहाटी जैसे पुराने आईआईटी में फाइनल प्लेसमेंट ऑफर में सैलरी ५-१० फीसदी ही बढ़ी है। इस साल नए आईआईटी में ज्यादा कंपनियों की एंट्री हुई। यहां प्री-प्लेसमेंट ऑफर (पीपीओ) भी बढ़ा। इन संस्थानों में टॉप पैकेज में भी इजाफा हुआ है। मिसाल के लिए आईटी सर्विसेज कंपनी एपिक सिस्टम्स ने आईटीआईटी रोपड़ के दो स्टू़डेंट्स को १,०५,००० डॉलर (तकरीबन ५७ लाख रुपए) का पैकेज ऑफर किया है। पिछले साल इस इंस्टीट्यूट में सबसे ज्यादा ऑफर ८०,००० डॉलर ( तकरीबन ४३.६ लाख रुपए) का था।
नई आईआईटी की सफलता में पीपीओ पर काफी जोर दिया जाता है। इसी का असर रिक्रूटमेंट पर दिख रहा है। समर इंटर्नशिप में स्टूडेंट्स को बेस्ट परफॉर्मेंस देने के लिए बढ़ावा दिया जाता है। इससे यहां पीपीओ में शानदार बढ़ोतरी हुई है। पिछले साल जहां आईआईटी रोपड़ और आईआईटी पटना में पीपीओ की संख्या १ थी, वहीं इस बार यह बढ़कर क्रमश: १० और ३ हो गया। 'पहले आओ, पहले पाओ' की रणनीति के तहत आईआईटी भुवनेश्वर, गांधीनगर, पटना और रोपड़ ने सितंबर के आखिर में ही अपना प्लेसमेंट शुरू कर दिया। आईआईटी रोपड़ में ट्रेनिंग और प्लेसमेंट ऑफिसर पी एस सिंह ने बताया, 'हमने काफी पहले से कंपनियों से संपर्क करना शुरू कर दिया था। लिहाजा, इस बार कैंपस में आने वाली कंपनियों की संख्या पिछले साल से ज्यादा रही।
पिछले साल जहां कैंपस में कुल २१ कंपनियां आई थीं, वहीं इस बार अब तक यह आंकड़ा ३० के पार पहुंच चुका है और इसमें और बढ़ोतरी की संभावना है।' आईआईटी गांधीनगर के स्टूडेंट कोऑर्डिनेटर्स ने कंपनियों के एचआर हेड से लगातार संपर्क बनाए रखा, ताकि कंपनियां इंस्टीट्यूट को नजरअंदाज न करें। इंस्टीट्यूट की यह कोशिश रंग लाई और इस बार कॉग्निजेंट और टीसीएस जैसी कंपनियां यहां आईं।
आईटी रोपड़ के स्टूडेंट्स को ११-१६ लाख का ऑफर मिला है। वहीं, आईटीआईटी गांधीनगर के स्टूडेंट्स को ९.५-९.९ लाख की रेंज में ऑफर मिले हैं। पिछले साल आईआईटी रोपड़ की एवरेज सैलरी ८.३२ लाख थी। इसी तरह, माइक्रोसॉफ्ट ने आईआईटी जोधपुर के ७ स्टूडेंट्स को १७ लाख का पैकेज ऑफर किया है। आईटीआईटी हैदराबाद के स्टूडेंट्स को एमेजॉन, गूगल, माइक्रोसॉफ्ट, क्वालकॉम जैसी कंपनियों से ऑफर मिले हैं।
आईआईटी के नए इंस्टीट्यूट पुराने पर भारी पड़ रहे हैं। इन नए संस्थानों में अभी प्लेसमेंट शुरू हुए कुछ साल ही हुए हैं, लेकिन रिक्रूटमेंट कंपनियां यहां से मोटे पैकेज पर ताबड़तोड़ हायरिंग कर रही हैं। रोपड़, पटना, हैदराबाद, भुवनेश्वर और गांधीनगर आईटीआईटी ने हायरिंग के मामले में पुराने इंस्टीट्यूट्स को पीछे छोड़ दिया है। माइक्रोसॉफ्ट, एमेजॉन और गूगल जैसी कंपनियां टैलेंट की तलाश में नए आईआईटी में जा रही हैं। यहां इस साल जो एवरेज सैलरी ऑफर की गई है, उसमें १५-२० फीसदी की बढ़ोतरी हुई है। वहीं, मद्रास, रुड़की, खड़गपुर, बॉम्बे, दिल्ली और गुवाहाटी जैसे पुराने आईआईटी में फाइनल प्लेसमेंट ऑफर में सैलरी ५-१० फीसदी ही बढ़ी है। इस साल नए आईआईटी में ज्यादा कंपनियों की एंट्री हुई। यहां प्री-प्लेसमेंट ऑफर (पीपीओ) भी बढ़ा। इन संस्थानों में टॉप पैकेज में भी इजाफा हुआ है। मिसाल के लिए आईटी सर्विसेज कंपनी एपिक सिस्टम्स ने आईटीआईटी रोपड़ के दो स्टू़डेंट्स को १,०५,००० डॉलर (तकरीबन ५७ लाख रुपए) का पैकेज ऑफर किया है। पिछले साल इस इंस्टीट्यूट में सबसे ज्यादा ऑफर ८०,००० डॉलर ( तकरीबन ४३.६ लाख रुपए) का था।
नई आईआईटी की सफलता में पीपीओ पर काफी जोर दिया जाता है। इसी का असर रिक्रूटमेंट पर दिख रहा है। समर इंटर्नशिप में स्टूडेंट्स को बेस्ट परफॉर्मेंस देने के लिए बढ़ावा दिया जाता है। इससे यहां पीपीओ में शानदार बढ़ोतरी हुई है। पिछले साल जहां आईआईटी रोपड़ और आईआईटी पटना में पीपीओ की संख्या १ थी, वहीं इस बार यह बढ़कर क्रमश: १० और ३ हो गया। 'पहले आओ, पहले पाओ' की रणनीति के तहत आईआईटी भुवनेश्वर, गांधीनगर, पटना और रोपड़ ने सितंबर के आखिर में ही अपना प्लेसमेंट शुरू कर दिया। आईआईटी रोपड़ में ट्रेनिंग और प्लेसमेंट ऑफिसर पी एस सिंह ने बताया, 'हमने काफी पहले से कंपनियों से संपर्क करना शुरू कर दिया था। लिहाजा, इस बार कैंपस में आने वाली कंपनियों की संख्या पिछले साल से ज्यादा रही।
पिछले साल जहां कैंपस में कुल २१ कंपनियां आई थीं, वहीं इस बार अब तक यह आंकड़ा ३० के पार पहुंच चुका है और इसमें और बढ़ोतरी की संभावना है।' आईआईटी गांधीनगर के स्टूडेंट कोऑर्डिनेटर्स ने कंपनियों के एचआर हेड से लगातार संपर्क बनाए रखा, ताकि कंपनियां इंस्टीट्यूट को नजरअंदाज न करें। इंस्टीट्यूट की यह कोशिश रंग लाई और इस बार कॉग्निजेंट और टीसीएस जैसी कंपनियां यहां आईं।
आईटी रोपड़ के स्टूडेंट्स को ११-१६ लाख का ऑफर मिला है। वहीं, आईटीआईटी गांधीनगर के स्टूडेंट्स को ९.५-९.९ लाख की रेंज में ऑफर मिले हैं। पिछले साल आईआईटी रोपड़ की एवरेज सैलरी ८.३२ लाख थी। इसी तरह, माइक्रोसॉफ्ट ने आईआईटी जोधपुर के ७ स्टूडेंट्स को १७ लाख का पैकेज ऑफर किया है। आईटीआईटी हैदराबाद के स्टूडेंट्स को एमेजॉन, गूगल, माइक्रोसॉफ्ट, क्वालकॉम जैसी कंपनियों से ऑफर मिले हैं।
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